मंगलवार को Bondada Engineering Ltd (BEL) का शेयर 5.34% गिरकर ₹381.90 पर आ गया, जबकि इसका पिछला क्लोजिंग प्राइस ₹403.45 था। क्या यह गिरावट एक खरीदारी का मौका है या कोई चेतावनी? आइए, कंपनी को विस्तार से समझते हैं।

स्टॉक परफॉर्मेंस
- 52-वीक हाई: ₹753.98
- 52-वीक लो: ₹310.05
- करंट प्राइस: ₹381.90 (52-वीक लो से 30% ऊपर)
- मार्केट कैप: ₹4,000 करोड़+
- ROE: 69% | ROCE: 78% (शानदार प्रॉफिटेबिलिटी!)
मुख्य मेट्रिक्स | वैल्यू |
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ऑर्डर बुक (मार्च 2025) | ₹5,044 करोड़ |
एयरटेल से नया ऑर्डर | ₹1.33 करोड़ (GST सहित) |
प्रोजेक्ट टाइमलाइन | 1 महीना (तमिलनाडु) |
स्टॉक गिरने के कारण
- प्रॉफिट बुकिंग: स्टॉक 52-वीक लो से 30% ऊपर था, इसलिए कुछ निवेशकों ने बुक किया होगा।
- सेक्टरल प्रेशर: टेलीकॉम और सोलर स्टॉक्स में अक्सर होती है उतार-चढ़ाव।
- ऑर्डर साइज: एयरटेल का ₹1.33 करोड़ का ऑर्डर कंपनी के टोटल ऑर्डर बुक के मुकाबले छोटा है।
कंपनी का बिजनेस मॉडल
Bondada Engineering Limited (2012 में स्थापित) टेलीकॉम और सोलर एनर्जी सेक्टर में EPC (इंजीनियरिंग, प्रोक्योरमेंट, कंस्ट्रक्शन) और O&M (ऑपरेशन्स एंड मेंटेनेंस) सर्विसेज प्रदान करती है।
मुख्य ताकतें:
बड़े क्लाइंट्स: रिलायंस जियो, एयरटेल जैसे दिग्गजों के साथ पार्टनरशिप।
मजबूत इंफ्रास्ट्रक्चर: 12,500+ टेलीकॉम टावर्स, 4,300 km OFC नेटवर्क।
डायवर्सिफाइड मैन्युफैक्चरिंग: टेलीकॉम टावर्स, सोलर स्ट्रक्चर्स, uPVC दरवाजे-खिड़कियां।
सोलर O&M पोर्टफोलियो: 20 MW का मैनेजमेंट।
नया ऑर्डर
Bondada की सहायक कंपनी Bondada Green Engineering (BGEPL) ने एयरटेल से तमिलनाडु के लिए 6-मीटर ऊंचाई के GI पोल्स सप्लाई का ऑर्डर हासिल किया है (₹1.33 करोड़, GST सहित)।
- टाइमलाइन: 1 महीना (तेजी से एक्जीक्यूशन = बेहतर कैश फ्लो)।
- महत्व: छोटा ऑर्डर, लेकिन एयरटेल जैसा क्लाइंट भविष्य में और प्रोजेक्ट्स दे सकता है।
वैल्यूएशन और फंडामेंटल्स
- ROE 69%, ROCE 78%: यह दिखाता है कि कंपनी प्रॉफिट जनरेशन में कुशल है।
- ऑर्डर बुक ₹5,044 करोड़: अगले कुछ क्वार्टर्स के लिए अच्छी रेवेन्यू विजिबिलिटी।
- लेकिन P/E रेश्यो चेक करें: अगर ज्यादा है, तो और करेक्शन हो सकता है।
टेक्निकल एनालिसिस
- सपोर्ट जोन: ₹310-350 (52-वीक लो के आसपास)।
- रेजिस्टेंस: ₹400-450 (अगर पार करे, तो अपट्रेंड जारी रह सकता है)।
- वॉल्यूम चेक: मंगलवार को वॉल्यूम ज्यादा था? अगर हां, तो सेलिंग प्रेशर मजबूत है।
खरीदें, होल्ड करें या बेचें?
- शॉर्ट-टर्म ट्रेडर्स: वोलेटिलिटी ज्यादा है, टाइट स्टॉप-लॉस के साथ ट्रेड करें।
- लॉन्ग-टर्म इन्वेस्टर्स: फंडामेंटल्स मजबूत हैं, लेकिन करेक्शन और हो सकता है। DCA (डॉलर-कॉस्ट एवरेजिंग) स्ट्रैटेजी बेहतर रहेगी।
- वॉचलिस्ट पर रखें: अगले क्वार्टरली रिजल्ट्स और नए ऑर्डर्स का इंतजार करें।
Disclaimer: ऊपर दिए गए विचार और सिफारिशें व्यक्तिगत विश्लेषकों या ब्रोकिंग कंपनियों की हैं, न कि "Rupya Marg" की। हम निवेशकों को सलाह देते हैं कि किसी भी निवेश निर्णय लेने से पहले प्रमाणित विशेषज्ञों से परामर्श करें। निवेश में जोखिम होता है और सही जानकारी के बिना निर्णय लेना हानिकारक हो सकता है।